
नोएडा। योगी आदित्यनाथ सरकार ने पुलिस सुधार की दिशा में बड़ा कदम उठाया जिसके तहत नोएडा और लखनऊ में पुलिस कमिश्नर सिस्टम लागू करने का निर्णय लिया गया। श्री आलोक सिंह को नोएडा का नया पुलिस कमिश्नर नियुक्त किया गया। कैबिनेट मीटिंग में इस प्रस्ताव को मंजूरी दे दी गई। नोएडा को स्मार्ट और सुरक्षित शहर के रूप में विकसित करने के लिए पुलिस कमिश्नर प्रणाली लागू करने का निर्णय मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ द्वारा कैबिनेट मीटिंग के दौरान लिया गया। इसी के साथ नए पुलिस सिस्टम में नोएडा में क्या-क्या व्यवस्थाएं की जाएगी, इसका विस्तृत ब्योरा दिया।
डीएम के भी कुछ अधिकार होंगे शामिल
यूपी सीएम ने बताया कि प्रदेश की आर्थिक राजधानी नोएडा में अपर पुलिस महानिदेशक (एडीजी) रैंक के अधिकारी को पुलिस कमिश्नर की जिम्मेदारी दी जाएगी। उन्हें जिला मजिस्ट्रेट (डीएम) के कुछ अधिकार भी शामिल होंगे। उन्होंने बताया, ‘पुलिस कमिश्नर प्रणाली में पुलिस का टीम वर्क होता है। इसमें कमिश्नर को मजिस्ट्रेट के कुछ पावर दिए जाते हैं ताकि वह प्रभावी और स्मार्ट पुलिसिंग को आगे बढ़ा सके। उन्हें 15 अधिकार दिए जा रहे हैं। उन्हें अधिकार मिल जाएगा कि कौन से अधिकारी को, कौन से पावर देने हैं, वही तय कर सकें।’ पुलिस कमिश्नर के साथ दो अडिशनल पुलिस कमिश्नर होंगे जो डीआईजी रैंक के अधिकारी होंगे।
एसपी रैंक की महिला अधिकारी के अंतर्गत महिला सुरक्षा
सीएम ने बताया कि पांच एसपी स्तर के अधिकारी भी नोएडा को दिए जाएंगे। योगी ने बताया कि नोएडा में महिला सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए एक एसपी रैंक की महिला अधिकारी की तैनाती की जाएगी। इस अधिकारी पर सिर्फ महिलाओं के खिलाफ होने वाले अपराधों को प्रभावी तरीके से निपटाने की जिम्मेदारी होगी। सीएम ने कहा, ‘खासतर पर महिला एसपी रैंक की अधिकारी की तैनाती होगी जो यह तय करेंगी कि महिलाओं के खिलाफ अपराधों पर अंकुश लगाने के समयबद्ध विवेचना और अभियोजन प्रक्रिया पूरी हो।’
यातायात व्यवस्था होगी दुरुस्त
योगी आदित्यनाथ ने प्रेस कॉन्फ्रेंस में बताया कि नोएडा में यातायात व्यवस्था को दुरुस्त करने के लिए भी बड़े कदम उठाए गए हैं। उन्होंने कहा कि यातायात पुलिस में भी एसपी रैंक के अधिकारी होंगे। उन्होंने कहा कि यातायात गतिविधियों की निगरानी के लिए निर्भया फंड से सीसीटीवी कैमरों और लाइटिंग की व्यवस्था की जाएगी। उन्होंने बताया कि नोएडा में कुछ नए थाने भी बनाए जाएंगे। अभी दो नए थाने बनाने की प्रक्रिया शुरू हो चुकी है।
इस सिस्टम की क्या रही वजह
योगी आदित्यनाथ ने पुलिस सिस्टम में सुधार की दरकार का जिक्र करते हुए कहा, ‘पुलिस सुधार के लिए समय-समय पर विशेषज्ञों की ओर से मिले प्रस्तावों एवं सुझावों पर समयबद्ध तरीके से कार्रवाई नहीं होने से न्यायपालिका हमेशा सरकारों को कठघरे में खड़ा करती थी। उत्तर प्रदेश जैसे राज्य में पुलिस आयुक्त प्रणाली लागू करने की जरूरत वर्षों से महसूस हो रही थी।’ उन्होंने कहा कि पुलिस ऐक्ट के मुताबिक भी 10 लाख से ऊपर की आबादी के नगरीय क्षेत्रों में पुलिस आयुक्त प्रणाली लागू होने चाहिए। नोएडा में अभी 16 लाख से ज्यादा आबादी है। वहीं, नोएडा, ग्रेटर नोएडा को मिला दिया जाए तो गौतम बुद्ध नगर जनपद के अंतर्गत करीब 25 लाख की आबादी है।